अभी तक पृथ्वी से संबंधित कुछ रहस्यमई बातों में से एक बात यह है की जमीन से कितने नीचे तक (life in the earth) जीवन संभव है.
आखिर जमीन के नीचे उस अंधकार में जहां पर सूर्य की रोशनी नहीं पहुंचती है.
वहां कितने नीचे तक किसी भी प्रकार का कोई जीव जीवित रह सकता है, चलिए कुछ साधारण जीवो से यह जानना शुरू करते हैं…..
कुछ साधारण जीव जो रहते हैं ज़मीन के नीचे (life in the earth)
एक सांप लगभग डेढ़ मीटर नीचे गड्ढे में रहता है, एक वैरामीड छिपकली जमीन से 3.6 मीटर नीचे अपना घर बनाती है,
कालाहारी रेगिस्तान में मौजूद पेड़ अपनी जड़ों को पानी की तलाश में 68 मीटर तक जमीन के नीचे ले जाते हैं.
क्या क्या आवश्यक हैं जीने के लिए
लेकिन क्या बस इतने नीचे तक ही (life in the earth) कोई जीव जीवित रह सकता है.
यह जानने के लिए हमें यह जानना आवश्यक होगा कि किसी जीव को जीवित रहने के लिए क्या-क्या चीज है आवश्यक है.
हम ही जानते हैं कि प्रोटीन ही जीवन के लिए बिल्डिंग ब्लॉक है.
और यह प्रोटीन बहुत ही अधिक तापमान वाले क्षेत्र में खुद को रिपेयर नहीं कर पाता है,
यानी जीवन जीने के लिए सबसे महत्वपूर्ण चीजों में से एक है अनुकूल तापमान होना.
पृथ्वी कई लेयर से मिलकर बनी हुई है और अगर हम पृथ्वी में गड्ढा करते-करते कोर की तरह
पहुंचेंगे तो धीरे-धीरे तापमान में बढ़ोतरी भी होती जाएगी.
यानी जमीन में गड्ढा करते करते एक पॉइंट ऐसा आएगा जहां पर तापमान जीवन जीने योग्य नहीं रहेगा.
मतलब जमीन के नीचे (life in the earth) एक निश्चित दूरी तक ही जीवन संभव है.
केमिकल ऊर्जा का प्रयोग करते हैं जीव
इसके अलावा जीवन जीने के लिए पानी सरफेस और ऊर्जा की आवश्यकता होती है.
कोई जीव ऊर्जा सूर्य के प्रकाश से या केमिकल ऊर्जा से भी जीवित रह सकता है.
और जाहिर सी बात है जमीन के नीचे (life in the earth) रहने वाले कई जीव
जैसे केंचुए कुछ कीड़े और कुछ माइक्रोब्स ऊर्जा के लिए केमिकल ऊर्जा का प्रयोग ही करते हैं.
और जमीन के कुछ नीचे तक तो यह सारे कंडीशन मौजूद ही हैं.
सबसे गहराई में रहने वाला जीव life in the earth)
चलिए इन साधारण सी बातों को जानने के बाद अब यह जानते हैं कि मनुष्य ने जमीन के सबसे नीचे रहने वाले कौन से जीव को पाया है.
2011 में दक्षिण अफ्रीका के खदान में जियोलॉजिस्ट Gaetan Borgonie और Tullis Onstott ने
एक ऐसी जीव को पाया जो जमीन से 3.9 किलोमीटर तक नीचे जीवित रह सकता है (life in the earth).
यह जमीन के नीचे बहुत ही हाई टेंपरेचर में सरवाइव कर सकता था.
साथ ही जमीन के नीचे पानी में भी जीवित रह सकता था. इस जीव को डेविल वॉर्म devil worm का नाम दिया गया.
दोनों ही जियोलॉजिस्ट को यह बात जानने के लिए पूरे 1 साल तक जमीन से नीचे सैंपल को लेकर उन्हें साफ कर कर के अध्ययन करना पड़ा,
फिर जाकर उन्हें यह डेविल वॉर्म जो कि एक बहुत ही छोटा सा जीव है, वह मिला.
इस जीव के मिलने के बाद जियोलॉजिस्ट यह सोचने पर मजबूर हो गए कि
आखिरकार जमीन के कितने नीचे तक (life in the earth) कोई जीवित रह सकता है?
समुद्र में सबसे नीचे रहने वाला जीव
डेविल वॉर्म तो जमीन के सबसे नीचे रहने वाले जीवो में से है.
बात करे समुद्र की सतह से सबसे नीचे रहने वाले जीव की तो
वह है मारियाना स्नेलफिश (mariana snailfish) जो कि समुद्र के सबसे गहरे पार्ट मारियाना ट्रेंच (mariana trench) में पाई जाती है.
अगर आपको यह बात नहीं पता है तो आपको बताते चलें कि मारियाना ट्रेंच इस धरती का सबसे गहराई वाला पार्ट है.
जो कि लगभग 11 किलोमीटर तक गहरा है
और इसी गहरी खाई में लगभग 8 किलोमीटर तक की गहराई में यह मारियाना स्नेलफिश जीवित रहती है.
20 किलोमीटर नीचे तक हैं जीवन
लेकिन येल यूनिवर्सिटी के एक नए स्टडी के अनुसार जमीन से 20 किलोमीटर तक की गहराई में,
जहां पर तापमान बहुत ज्यादा होता है, वहां पर भी कुछ बैक्टीरिया जीवित रह सकते हैं.
रिसर्चस ने यह बात पत्थरों के ऊपर एक मिनिरल एरागोनाइट (aragonite) से पता लगाया.
रिसर्चस ने पाया कि यह एरागोनाइट वाले पत्थर आज से 10 करोड़ साल पहले,
जमीन से 20 किलोमीटर तक नीचे थे और यह मिनरल उन पत्थरों के ऊपर बैक्टीरिया के मर कर उनके ऊपर जमा होने से बना है.
यानी बैक्टीरिया बहुत साल तक जमीन से 20 किलोमीटर तक जीवित रह कर वहीं पर मर गए.
और इन पत्थरों के ऊपर जमकर एरागोनाइट मिनिरल बन गए.
फिर बाद में वैज्ञानिकों ने इन पत्थरों को पाया और इन पर अध्ययन कर यह यह इंफॉर्मेशन दिया।
किस जमीन से 20 किलोमीटर तक जीवन (life in the earth) संभव हो सकता है
जानकारी विडियो से लीजिये