underground water in hindi -जमीन के कितने नीचे तक पानी है कभी आपने सोचा है. हमारे भारत में जगह-जगह सड़कों पर भारत सरकार ने हैंडपंप लगवा रखे हैं.
पानी की व्यवस्था के लिए और इन हैंडपंप में गर्मियों के दिनों में जल का स्तर बहुत नीचे गिर जाता है।
फिर हम यह सोचते हैं कि आखिर जमीन के कितने नीचे तक पानी है.
तो क्या हम यह जान सकते हैं कि जमीन के कितने नीचे तक जल है?
चलिए इन प्रश्नों के उत्तर को खंगालते हैं….
समझना होगा पृथ्वी की संरचना :-
ज़मीन के नीचे पानी को जानने के लिए सबसे पहले हम पृथ्वी की संरचना को जानेंगे।
आप ने प्याज़ को काटते समय देखा होगा कि प्याज़ कई लेयर से मिलकर बना होता है.
पृथ्वी भी ठीक वैसे ही कई लेयर से मिलकर बनी हुई है।
सबसे ऊपर कि लेयर जिस पर हम रहते हैं जिसे कहते हैं crust.
वह होता है लगभग 30 से 65 किलोमीटर तक की मोटी परत।
crust के नीचे mantle की लेयर होती है, जो कि 2900 किलोमीटर तक मोटी होती है।
जिसका अधिकतम तापमान 4000 डिग्री सेल्सियस भी हो सकता है।
ये semi-liquid अवस्था में होता है। mantle के नीचे होता है outer core की लेयर जो कि लगभग 2200 किलोमीटर की मोटी परत है।
इसका तापमान अधिकतम 6000 डिग्री सेल्सियस भी हो सकता है।
और outer core के नीचे होता है inner core, पृथ्वी की सबसे अंदरूनी भाग।
बेहद ही solid ये 1200 किलोमीटर तक मोटी परत है।
अब आप पृथ्वी के संरचना को जान गए होंगे।
सामन्यतया कितना जानते हैं पानी के स्तर (underground water in hindi) :-
हमें यह जानना है कि water जमीन के नीचे तक हो सकता है ?
और water होता है पृथ्वी के बाहरी सतह पर यानी crust में, हम जो बोरवेल से water निकालते हैं.
वो पृथ्वी के ऊपरी सतह पर ही होता है। वर्षा का पानी जमीन के सहारे अंदर समा कर नीचे crust के चट्टानों की दरारों में इकट्ठा होते रहते हैं।
गर्मियों में इनका स्तर काफी गिर जाता है पर मानसून में यह फिर बढ़ जाता है।
ज़मीन के नीचे पानी के इन भण्डारण को जलभृत aquifer in hindi कहते हैं।
सामान्यतया माना जाता है कि जमीन से लगभग 9 से 10 किलोमीटर तक के नीचे ही पानी है,
जिसका दोहन आज का मनुष्य कर रहा है।
water table घटता जा रहा है :-
धीरे-धीरे इस पानी का स्तर घटता भी जा रहा है यानी वाटर टेबल (water table) घटता जा रहा है।
वाटर टेबल (water table in hindi) वह होता है. जब हम जमीन को खोदते-खोदते, जमीन के नीचे पानी का जो शुरुआती सतह पाते हैं.
उसे हम वाटर टेबल (water table) कहते हैं.
तो यह हुआ सामान्य बात जो अब तक हम लोग जानते हैं।
क्या 1000 किलोमीटर नीचे तक हैं पानी :-
अब आप को एक विशेष बात बताते हैं एक नए अध्ययन के अनुसार जमीन के नीचे water लगभग 1000 किलोमीटर तक गहरा भी हो सकता है।
यानी mantle के लेयर तक जल हो सकता है। पृथ्वी के नीचे water इतना ज्यादा हो सकता है.
जितना कि पृथ्वी के ऊपर पूरे समुद्र का पानी।
यह बहुत ही पुराना, करोड़ों करोड़ों साल पुराना भी हो सकता है।
हजारों हजारों साल का पानी जो कि बरसात के समय पृथ्वी पर बरसा।
वह यहां आकर समाता गया और अब पानी का भंडारण (underground water in hindi) पृथ्वी के नीचे बहुत ज्यादा हो गया है।
लेकिन पृथ्वी के नीचे पानी जितना भी हो water table निरतंर घटता जा रहा हैं.
और यह एक चिंता का विषय हैं।